ईरान: यूनिवर्सिटी कैंपस में बिना कपड़ों के घूमने वाली लड़की का मामला

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ईरान में हाल ही में एक यूनिवर्सिटी की छात्रा द्वारा अपने कपड़े उतारकर कैंपस में घूमने का मामला सामने आया है। यह घटना ऐसे समय में हुई है जब देश में महिलाओं के अधिकारों को लेकर गहरा संघर्ष चल रहा है। ईरान में महिलाओं के पहनावे और उनके अधिकारों को लेकर बहुत सख्त कानून हैं। ईरान के कानून के अनुसार, महिलाओं को सार्वजनिक स्थानों पर हिजाब (सिर ढकने वाला कपड़ा) पहनना अनिवार्य है।

घटना का पूरा विवरण

हाल ही में सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हुआ, जिसमें एक युवती को यूनिवर्सिटी के कैंपस में बिना हिजाब और पारंपरिक कपड़ों के घूमते हुए देखा गया। यह घटना तेहरान की एक प्रतिष्ठित यूनिवर्सिटी की है। वीडियो में देखा गया कि युवती खुले बालों में और साधारण कपड़ों में घूम रही थी। इस घटना ने देश में महिलाओं के अधिकारों और उनके पहनावे को लेकर एक बार फिर से बहस छेड़ दी है।

क्या था इसका कारण?

इस कदम के पीछे युवती का उद्देश्य सरकार द्वारा महिलाओं के पहनावे पर लगाए गए प्रतिबंधों का विरोध करना बताया जा रहा है। ईरान में पिछले कई महीनों से महिलाएं हिजाब पहनने के कानून का विरोध कर रही हैं। इस विरोध का आरंभ तब हुआ जब पिछले वर्ष पुलिस हिरासत में एक युवती की मौत हो गई थी, जो हिजाब न पहनने के आरोप में गिरफ्तार की गई थी। इस घटना ने न केवल ईरान में बल्कि दुनियाभर में लोगों को झकझोर दिया था, और तब से महिलाओं का यह आंदोलन और तेज हो गया है।

हिजाब कानून और विरोध की स्थिति

ईरान में 1979 की इस्लामिक क्रांति के बाद हिजाब पहनना महिलाओं के लिए अनिवार्य कर दिया गया था। जो महिलाएं हिजाब नहीं पहनती हैं या सरकार द्वारा निर्धारित ड्रेस कोड का पालन नहीं करती हैं, उन्हें जेल की सजा या जुर्माना लगाया जा सकता है। लेकिन पिछले कुछ वर्षों में, कई महिलाएं हिम्मत करके इस कानून का खुलकर विरोध कर रही हैं। वे सड़कों पर, यूनिवर्सिटी के कैंपस में और सार्वजनिक स्थानों पर बिना हिजाब के नजर आ रही हैं।

सरकार की प्रतिक्रिया

इस तरह की घटनाओं पर ईरान सरकार की प्रतिक्रिया बहुत सख्त रही है। कई बार ऐसे मामलों में पुलिस ने कड़ी कार्रवाई की है और विरोध करने वाली महिलाओं को गिरफ्तार किया है। इस मामले में भी, उस छात्रा को अनुशासनात्मक कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है। सरकारी अधिकारी इसे देश की परंपराओं और संस्कृति के खिलाफ मानते हैं, और ऐसे कृत्य को पश्चिमी संस्कृति का प्रभाव मानते हैं।

महिलाओं के अधिकारों पर वैश्विक समर्थन

इस घटना के बाद से महिलाओं के अधिकारों का समर्थन करने वाले संगठन और लोग सोशल मीडिया पर इस युवती के साहस की सराहना कर रहे हैं। कई अंतरराष्ट्रीय संगठनों ने भी ईरान में महिलाओं के लिए अधिक स्वतंत्रता की मांग की है। पश्चिमी देशों में लोग हिजाब विरोधी आंदोलन का समर्थन कर रहे हैं और ईरान की महिलाओं को उनकी मर्जी से जीने का अधिकार देने की अपील कर रहे हैं।