कनाडा में प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो के नेतृत्व वाली सरकार के खिलाफ असंतोष बढ़ता जा रहा है। हालिया रिपोर्ट्स के अनुसार, देश में आवास संकट और बेरोजगारी की बढ़ती दरें इस असंतोष के मुख्य कारण बन रही हैं।
आवास संकट
कनाडा में आवास की कीमतें पिछले कुछ वर्षों में तेजी से बढ़ी हैं, जिससे लोगों के लिए अपने लिए एक उपयुक्त घर ढूंढना बेहद मुश्किल हो गया है। अनेक नागरिकों का कहना है कि वे महंगे किराए या घरों के कारण बेघर होने के कगार पर हैं। कुछ विशेषज्ञों का मानना है कि सरकार की आवास नीति में सुधार की आवश्यकता है, ताकि आम नागरिकों के लिए किफायती आवास उपलब्ध कराया जा सके।
बेरोजगारी की समस्या
इसके अलावा, कनाडा में बेरोजगारी की दर भी चिंताजनक स्तर पर पहुंच गई है। हाल की आर्थिक रिपोर्ट्स से पता चलता है कि कई उद्योगों में नौकरियों की कमी है, जबकि कुछ क्षेत्रों में कर्मचारियों की अत्यधिक मांग है। इसके परिणामस्वरूप, कनाडाई युवाओं और विशेष रूप से नए स्नातकों को रोजगार पाने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।
ट्रूडो सरकार की नीतियों पर सवाल
कनाडा के नागरिक अब ट्रूडो सरकार की नीतियों पर सवाल उठा रहे हैं। कई लोगों का कहना है कि सरकार ने आर्थिक मुद्दों को सुलझाने में विफलता दिखाई है, जिसके परिणामस्वरूप जनजीवन प्रभावित हुआ है। इस असंतोष ने हाल के चुनावों में भी देखा गया, जहां ट्रूडो की लिबरल पार्टी को कड़ी चुनौती मिली।
विरोध प्रदर्शन
इन समस्याओं के चलते कनाडा के विभिन्न शहरों में विरोध प्रदर्शन भी हो रहे हैं। नागरिक सरकार से किफायती आवास योजनाओं और रोजगार सृजन के लिए ठोस कदम उठाने की मांग कर रहे हैं। युवा वर्ग विशेष रूप से बेरोजगारी और महंगाई के खिलाफ आवाज उठाने में सक्रिय है।