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जो बाइडेन का ऐतिहासिक कदम: यूक्रेन के कर्ज माफ कर रचा इतिहास, देशवासियों को हमेशा रहेगा याद

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अमेरिकी राष्ट्रपति के अंतिम दिनों में बड़ा फैसला:
जो बाइडेन ने अपने कार्यकाल के अंतिम दिनों में यूक्रेन के लिए एक ऐसा ऐतिहासिक कदम उठाया है, जिसे यूक्रेनी जनता शायद कभी नहीं भूलेगी। बाइडेन प्रशासन ने यूक्रेन को दिए गए लगभग 4.7 अरब डॉलर के अमेरिकी कर्ज को माफ करने का निर्णय लिया है। यह फैसला यूक्रेन की लड़ाई को समर्थन देने और उसे आर्थिक मजबूती प्रदान करने की दिशा में एक बड़ा कदम है।

कर्ज माफी की वजह:

  • अमेरिकी कांग्रेस द्वारा पारित एक फंडिंग बिल ने यूक्रेन को आर्थिक सहायता के लिए 9.4 अरब डॉलर तक के माफ करने योग्य ऋण प्रदान किए थे।
  • इनमें से आधे ऋणों को राष्ट्रपति 15 नवंबर के बाद रद्द कर सकते थे।
  • बाइडेन ने अपने अधिकारों का उपयोग करते हुए यह कर्ज माफ किया।

रूस-यूक्रेन युद्ध में अमेरिका की भूमिका:

बाइडेन प्रशासन ने न केवल आर्थिक सहायता दी, बल्कि यूक्रेन को रूस के खिलाफ लड़ाई में सामरिक बढ़त देने के लिए लंबी दूरी की मिसाइलों का भी समर्थन किया।

  • लंबी दूरी की मिसाइलें: यूक्रेन को रूस के खिलाफ एटीएसीएमएस मिसाइलें उपलब्ध कराई गईं।
  • उत्तर कोरिया की भागीदारी का जवाब: उत्तर कोरिया के कथित सैनिकों की मास्को की मदद के जवाब में अमेरिका ने यह समर्थन और तेज कर दिया।

ट्रंप के आने पर स्थिति बदल सकती है:

डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति बनने की संभावनाओं के बीच बाइडेन ने यूक्रेन को यथासंभव अधिक सहायता देने का फैसला किया।

  • ट्रंप ने यूक्रेन को दी जा रही अमेरिकी सहायता की हमेशा आलोचना की है।
  • उनकी सत्ता में वापसी से अमेरिकी समर्थन सीमित हो सकता है, जिससे बाइडेन प्रशासन ने पहले ही जरूरी कदम उठाने का निर्णय लिया।

कांग्रेस की भूमिका:

विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने कहा कि कर्ज माफी को रोकने के लिए अमेरिकी कांग्रेस के पास अभी भी विकल्प है। हालांकि, बाइडेन ने इस कदम को कानूनी आधार पर लिया है।

यूक्रेन के लिए क्या मायने रखता है यह कदम?

  • आर्थिक स्थिरता: कर्ज माफी यूक्रेन की सरकार को युद्ध के दौरान अपनी आंतरिक आर्थिक स्थिति मजबूत करने का मौका देती है।
  • सामरिक समर्थन: अमेरिका का समर्थन रूस के खिलाफ संघर्ष में यूक्रेन को निर्णायक बढ़त दिला सकता है।

बाइडेन की विरासत:

जो बाइडेन का यह निर्णय उनकी विदेश नीति का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बन सकता है। यह न केवल रूस के खिलाफ यूक्रेन की लड़ाई को समर्थन देता है, बल्कि यह अमेरिका की वैश्विक नेतृत्व क्षमता को भी मजबूत करता है।

निष्कर्ष:
बाइडेन के इस ऐतिहासिक कदम से यूक्रेन को न केवल आर्थिक मदद मिली है, बल्कि यह अमेरिका-यूक्रेन संबंधों को भी और मजबूती प्रदान करता है। हालांकि, आने वाले समय में ट्रंप की वापसी के साथ अमेरिकी नीतियों में बदलाव संभावित है। यह देखना दिलचस्प होगा कि इस संघर्ष का भविष्य क्या रूप लेता है।